Saturday, June 25, 2011

समझ इंसानियत आये

निकल शैतानियत जाये  समझ  इंसानियत  आये ,
सियासी  जिंदगी  की  सोच  में  कुर्वानियत  आये ,
किया है बादशाहत को बमुश्किल दफ़्न हम सबने --
हमारे  देश   में   फिरसे  नहीं   हैवानियत  आये |

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