वह है चतुर महान यहाँ कवियों जैसा|
पहने है परिधान यहाँ कवियों जैसा||
कविता का व्यवहार न जिसको ज्ञात उसे
मिलता है सम्मान यहाँ कवियों जैसा|
भ्रष्टाचार विरोधी दल का जगह-जगह,
शुरू हुआ अभियान यहाँ कवियों जैसा|
घुस न सकेगा अरि दल भारत सीमा में,
उनका है एलान यहाँ कवियों जैसा|
चोर बकैत लठैत नहीं अब दिखें कहीं,
हर कोई गुणवान यहाँ कवियों जैसा|
सुलभ उन्हें सब कुछ सत्ता के आँगन में,
पर मिला नहीं ईमान यहाँ कवियों जैसा|
'तुका' यही है सत्य सत्य है सत्य यही,
कौन हुआ कुर्वान यहाँ कवियों जैसा?
पहने है परिधान यहाँ कवियों जैसा||
कविता का व्यवहार न जिसको ज्ञात उसे
मिलता है सम्मान यहाँ कवियों जैसा|
भ्रष्टाचार विरोधी दल का जगह-जगह,
शुरू हुआ अभियान यहाँ कवियों जैसा|
घुस न सकेगा अरि दल भारत सीमा में,
उनका है एलान यहाँ कवियों जैसा|
चोर बकैत लठैत नहीं अब दिखें कहीं,
हर कोई गुणवान यहाँ कवियों जैसा|
सुलभ उन्हें सब कुछ सत्ता के आँगन में,
पर मिला नहीं ईमान यहाँ कवियों जैसा|
'तुका' यही है सत्य सत्य है सत्य यही,
कौन हुआ कुर्वान यहाँ कवियों जैसा?
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